गोरखपुर, । पिपराइच थाना क्षेत्र के बैलों गांव का एक युवक 13 साल पहले रोजी-रोटी की तलाश में निकला तो घर नहीं लौटा। 13 साल तक घर वालों से कोई संपर्क नहीं किया। पत्नी उसका इंतजार करती रही। आखिरकार परिवार और रिश्तेदरों के कहने पर पिछले साल जून में उसने पति के छोटे भाई के साथ शादी रचा ली। सब कुछ हंसी-खुशी चल रहा था। 13 साल बाद घर लौटा तो पत्नी को छोटे भाई की पत्नी के रूप में देखकर सदमे में आ गया। इससे आहत होकर उसने फांसी लगाकर जान दे दी।बैलो निवासी संत 13 साल पहले हैदराबाद कमाने गया था। उस समय उसकी पत्नी के दो बच्चे थे। इसके बाद से उसकी काेई खोज-खबर नहीं मिल रही थी। परिवार के लोगों ने उसे तलाश करने का काफी प्रयास किया लेकिन उसका पता नहीं चला। एक माह पहले वह अचानक घर लौटा, परिवार के लोगों को समझ में नहीं आ रहा था कि वे खुशी व्यक्त करें या फिर दुखी हों। उधर पत्नी को भाई की पत्नी की पत्नी के रूप में देखकर वह दिन भर शराब के नशे में धुत रहने लगा।पत्नी, पति के लौटने का इंतजार करती रही। उसकी कोई खोज खबर नहीं मिल रही थी। इस बीच पत्नी का देवर रामू के साथ संबंध स्थापित हो गया । खास बात यह है कि जब संत हैदराबाद गया था तब उसके छोटे भाई की उम्र मात्र 12 वर्ष थी । इधर लगभग तीन साल पहले देवर से भी एक बच्चा पैदा हो गया ।जून माह में ग्रामीणों की सहमति से उसकी पत्नी ने देवर के साथ शादी रचा ली । एक माह पहले अचानक संत प्रसाद घर पहुंचा तो देखा कि उसकी पत्नी उसके छोटे भाई की व्याहता हो चुकी है । इससे दुखी संत काफी शराब पीने लगा था । 10 जनवरी की शाम चार बजे जब परिजन खेत गए हुए थे । इसी दौरान उसने पत्नी के साड़ी से ही फांसी लगाकर आत्महत्या कर लिया । पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है ।
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